Teri Kurbat me - 18 book and story is written by Aruandhatee Garg in Hindi . This story is getting good reader response on Matrubharti app and web since it is published free to read for all readers online. Teri Kurbat me - 18 is also popular in Love Stories in Hindi and it is receiving from online readers very fast. Signup now to get access to this story.
तेरी कुर्बत में - (भाग-18)
ARUANDHATEE GARG मीठी द्वारा हिंदी प्रेम कथाएँ
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विवरण
ऋषि को खिलखिलाती हुई संचिता बहुत अच्छी लग रही थी । उसने उसे देखकर कहा। ऋषि - वैसे तुमने मेरी एक बात का जवाब नहीं दिया । संचिता - कौन सी बात??? ऋषि - यही...., कि तुमने यहां आने से पहले मुझे बताया नहीं । संचिता ( ऋषि को इशाराकर ) - यहां आओ , अपना कान इधर करो । ऋषि ने उसके कहे अनुसार अपने कान उसके पास किए , तो वह उसके कान में हाथ सटा कर धीरे से बोली । संचिता - अगर बता देती , तो सरप्राइज कैसे देती?? और इतना बोल वह खिलखिलाकर हंस दी
संचिता जो कि 12थ क्लास में पढ़ने वाली लड़की है । छुट्टी की असमेंबली में खड़ी , एक लड़के को देख रही थी । असेंबली खत्म होते ही , वो उस लड़के के पास आई ,...
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